सोमवार, 21 सितंबर 2020

रेलवे में मिशन मोड़ पर ‘गरीब कल्याण रोजगार अभियान’

अब तक छह राज्यों में 8.09 लाख से ज्यादा कार्य दिवस किये सृजित

रेलवे की 164 रेल परियोजनाओं में मिला प्रवासी श्रमिकों को काम

रेलवे ने मजदूरी के लिए 1,631.80 करोड़ से ज्यादा का भुगतान

हरिभूमि ब्यूरो.नई दिल्ली।

कोरोना काल में मोदी सरकार के छह राज्यों में शुरू किया गया ‘गरीब कल्याण रोज़गार अभियान’ को भारतीय रेलवे मिशन मोड़ पर चला रहा है। रेलवे ने अपनी 164 परियोजनाओं में स्थानीय रोजगार मुहैया कराते हुए अब तक 12,276 श्रमिकों के लिए 8,09,046 कार्य दिवस सृजित किये हैं और मजदूरी के लिए ठेकेदारों को 1,631.80 करोड़ रुपये का भुगतान जारी किया गया है।

रेल मंत्रालय ने मंगलवार को यह जानकारी देते हुए बताया कि भारतीय रेलवे ने बिहार, झारखंड, मध्य प्रदेश, ओडिशा, राजस्थान और उत्तर प्रदेश में 4 सितंबर तक मिशन मोड पर चल रहे ‘गरीब कल्याण रोज़गार अभियानके तहत 8,09,046 कार्य किए हैं। भारतीय रेलवे ने अपनी करीब 164 रेल अवसंरचना परियोजनाओं में चयनित इन छह राज्यों में 125 दिनों के इस अभियान में लॉकडाउन के दौरान घर वापसी करने वाले पंजीकृत 12,276 प्रवासी श्रमिकों को स्थानीय स्तर पर रोजगार मुहैया कराया है। वहीं रेल परियोजनाओं के कार्यान्वयन के लिए श्रमिकों की मजदूरी के लिए अब तक ठेकेदारों को 1,631.80 करोड़ रुपये का भुगतान जारी किया गया है। मंत्रालय के अनुसार रेल मंत्री पीयूष गोयल स्वयं इस योजना के तहत इन राज्यों के प्रवासी मजदूरों के लिए इन परियोजनाओं और पीढ़ी के काम के अवसरों की पीढ़ी में हुई प्रगति की बारीकी से निगरानी कर रहे हैं। इस अभियान को रेलवे ने प्रत्येक जिले के साथ-साथ राज्यों में भी नोडल अधिकारी नियुक्त किए हैं, ताकि राज्य सरकार के साथ घनिष्ठ समन्वय स्थापित हो सके।

इन कामों में श्रमिकों को मिला रोजगार

मंत्रालय के अनुसार रेलवे की करीब 164 परियोजनाओं में कुछ विशेष कार्यों की पहचान की है जिन पर इस योजना के तहत काम चल रहा है, जिनमें रेलवे के समतल क्रॉसिंग के लिए उप-मार्गों के निर्माण और रख-रखाव, रेलवे ट्रैक के किनारे जलमार्गों, खाइयों और नालों का विकास और उनकी साफ-सफाई, रेलवे स्टेशनों के लिए उप-मार्गों का निर्माण और रख-रखाव, रेलवे के मौजूदा किनारों (तटबंधों) व  उप-मार्गों की मरम्मत और चौड़ीकरण, रेलवे की ज़मीन की अंतिम सीमा पर वृक्षारोपण करना और मौजूदा किनारों (तटबंधों) के साथ उप-मार्गों और पुलों के संरक्षण कार्य शामिल है। ऐसे कार्यो में प्रवासी श्रमिकों को रोजगार मुहैया कराया जा रहा है।

20 जून को लॉन्च हुआ था अभियान

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा 20 जून को प्रवासी श्रमिकों को स्थानीय स्तर पर रोजगार मुहैया कराने की दिशा में 6 राज्यों बिहार, झारखंड, मध्य प्रदेश, ओडिशा, राजस्थान और उत्तर प्रदेश में 125 दिनों के लिए गरीब कल्याण रोजगार अभियानशुरू करने का ऐलान किया था, जिसका मकसद बुनियादी ढांचों के विकास और अन्य परियोयजनाओं के तहत देश के विभिन्न राज्यों से अपने गृह राज्य वापस लौटे प्रवासी श्रमिकों को रोजगार मुहैया कराना था। केंद्र सरकार के इस अभियान में करीब एक दर्जन मंत्रालयों व विभागों की परियोजनाओं के कार्यान्वयन को शामिल किया गया है, जिसमें भारतीय रेलवे ने भी करीब 164 रेल परियोजनाओं के कार्यान्वयन हेतु इस अभियान को निर्धारित सभी छह राज्यों में मिशन मोड़ पर शुरू किया। वैसे भी भारतीय रेलवे कोरोना काल संकट में पहले से ही आवश्यक सामान की आपूर्ति, प्रवासी श्रमिकों की घर वापसी, विशेष ट्रेन चलाकर जनता को सुविधाओं के साथ चिकित्सीय सहायता समेत कई क्षेत्र में सक्रीय भूमिका निभाता आ रहा है।

09Sep-2020


 

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