गुरुवार, 31 दिसंबर 2020

देश में एथेनॉल के उत्पादन की क्षमता बढ़ाने की तैयारी

केंद्र सरकार ने दी नई संशोधित योजना को मंजूरी केंद्रीय मंत्रिमंडल में लिए गये कई महत्वपूर्ण फैसले हरिभूमि ब्यूरो.नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने मंत्रिमंडल में कई महत्वपूर्ण फैसले किये हैं। इन फैसलों में देश में एथेनॉल की उत्पादन क्षमता को बढ़ाने के लिए नई संशोधित योजना के अलावा ग्रेटर नोएडा में मल्टी-मॉडल लॉजिस्टिक्स हब और मल्टी-मॉडल ट्रांसपोर्ट हब के साथ पारादीप बंदगाह के अत्याधुनिक विकास जैसी कई महत्वपूर्ण परियोजनाओं को भी मंजूरी दी गई है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में बुधवार को ही केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक के बाद एक संवाददाता सम्मेलन में केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर, केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान और जहाजरानी मंत्री मनसुख मंडाविया ने अपने अपने मंत्रालयों के प्रस्तावों को मिली मंजूरी की जानकारी दी। केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि कैबिनेट ने इथेनॉल डिस्टिलेशन क्षमता बढ़ाने के लिए संशोधित योजना को अनुमति दी। इस योजना के तहत पहली पीढ़ी के एथेनॉल यानी चावल, गेहूं, मक्का, गन्ना, चुकंदर आदि से बनने वाले एथेनॉल का उत्पादन किया जाएगा। प्रधान ने कहा कि वर्तमान में हमारी एथेनॉल उत्पादन क्षमता 684 करोड़ लीटर है। उन्होंने कहा कि सत्र 2019-20 में हमारी इथेनॉल खरीद 38 करोड़ लिटर से बढ़कर 173 करोड़ लिटर हो गई है। मंत्रिमंडल ने इथेनॉल उत्पादन संयंत्रों के लिए 4,573 करोड़ रुपये की ब्याज सहायता को भी मंजूरी दी। ---कृष्णपट्टनम में बनेगा औद्योगिक गलियारा: इस दौरान केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री प्रकाश जावडेकर ने बताया कि केंद्रीय मंत्रिमंडल ने जहां सीबीआईसी के तहत आंध्र प्रदेश के कृष्णपट्टनम और कर्नाटक के तुमकुरु में औद्योगिक गलियारे को मंजूरी दी है। कृष्णपट्टनम में 2,139.44 करोड़ रुपए की लागत और टुमकुर में औद्योगिक क्षेत्र में 1,701.81 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत से विकास होगा। वहीं 1,701.81 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत की उत्तर प्रदेश के ग्रेटर नोएडा में मल्टी-मॉडल लॉजिस्टिक्स हब और मल्टी-मॉडल ट्रांसपोर्ट हब (एमएमटीएच) के प्रस्ताव को भी मंजूरी दी गई है। इउन्होंने कहा कि केंद्र सरकार के इन फैसलों के तहत दो ट्रेड कॉरिडोर बन रहे हैं, जिससे माल ढुलाई की क्षमता और बेहतर तरीके हो सकेगी। उन्होंने कहा कि माल ढुलाई के लिए कॉरिडोर के साथ जहां एक्सप्रेस-वे हैं, बंदरगाह हैं, रेलवे की सुविधा है और एयरपोर्ट भी हैं, ऐसी जगह औद्योगिक शहरों का विकास करने का निर्णय आर्थिक मामलों के तहत लिया है। इन परियोजनाओं के लिए 7,725 करोड़ रुपए की लागत से लगभग तीन लाख रोजगार पैदा करने के लिए योजना को मंजूरी मिली है। ----पारादीप बंदरगाह का होगा अत्याधुनिक विकास: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में आर्थिक मामलों की मंत्रिमण्डमलीय समिति ने ‘पारादीप बंदरगाह में केप आकार के जहाजों के आवागमन के लिए सार्वजानिक–निजी साझेदारी यानि पीपीपी मोड के तहत निर्माण, संचालन और हस्तांतरण (बीओटी) के आधार पर पश्चिमी गोदी के विकास समेत आंतरिक बंदरगाह से जुड़ी सुविधाओं को मजबूत और उन्नत बनाने’ से जुड़ी परियोजना को मंजूरी दी है। इस मंजूरी के बारे में केंद्रीय मंत्री मनसुख मंडाविया ने कहा कि पारादीप बंदरगाह में एक वेस्टर्न डॉक बनाने के लिए केंद्र सरकार ने 3000 करोड़ रुपये के खर्च से एक आधुनिक और विश्वस्तरीय बंदरगाह निर्माण करने का फैसला लिया है। इसकी अनुमानित लागत 3004.63 करोड़ रुपये है। ----आकाश मिसाइल प्रणाली के निर्यात को मंजूरी: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में बुधवार को हुई केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में आकाश मिसाइल प्रणाली के निर्यात को दी गई मंजूरी के बारे में केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावडेकर ने बताया कि इस फैसले के तहत साथ ही निर्यात को तेजी से सुगम बनाने के लिये एक समिति गठित करने का भी निर्णय किया गया। इस फैसले से आत्मनिर्भर भारत के तहत देश रक्षा उपकरणों और मिसाइलों के व्यापक प्रारूपों के निर्माण की क्षमता बढ़ेगी। उन्होंने कहा कि आकाश का निर्यात प्रारूप वर्तमान में भारतीय सशस्त्र सेनाओं के साथ तैनात प्रणाली से अलग होगा। 31Dec-2020

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