शनिवार, 16 मई 2020

लॉकडाउन: अब तक रेलवे ने चलाई एक हजार श्रमिक विशेष ट्रेनें



तेरह लाख से ज्यादा प्रवासियों की कराई घर वापसी
गुरुवार को चली रिकार्ड 145 श्रमिक विशेष ट्रेने
हरिभूमि ब्यूरो.नई दिल्ली।
भारतीय रेलवे ने पिछले एक पखवाडे में एक हजार से ज्यादा श्रमिक विशेष ट्रेनों के जरिए 13 लाख से ज्यादा प्रवासी श्रमिकों, छात्रों, पर्यटकों एवं अन्य लोगों को देश के विभिन्न राज्यों से उनके गृह राज्यों तक पहुंचाया है।
रेल मंत्रालय ने शुक्रवार को यह जानकारी देते हुए बताया कि गृह मंत्रालय के आदेश के बाद भारतीय रेलवे ने श्रमिक दिवस’ यानि एक मई से देश में जगह-जगह लॉकडाउन में फंसे प्रवासी श्रमिकों, तीर्थयात्रियों, पर्यटकों, छात्रों और अन्य व्यक्तियों को उनके घर वापसी कराने के लिए श्रमिक विशेष ट्रेनों का परिचालन शुरू किया था। अब तक भारतीय रेलवे विभिन्न राज्यों से 13 लाख से ज्यादा प्रवासियों को उनके गृह राज्यों तक पहुंचा चुका है, जिसके लिए रेलवे ने एक हजार से ज्यादा श्रमिक विशेष ट्रेनें चलाई हैं।
इस सप्ताह ज्यादा प्रवासियों ने किया सफर
रेल मंत्रालय के प्रवक्ता ने बताया कि एक मई से आरंभ हुई इन श्रमिक विशेष ट्रेनों में कोरोना वायरस महामारी के बचाव की दृष्टि से एक ट्रेन में केवल अधिकतम 1200 यात्रियों को जगह दी जा रही थी। रेलवे ने ज्यादा से ज्यादा प्रवासी श्रमिकों को एक स्थान से दूसरे स्थान तक स्थांतरित करने के मकसद से गत सोमवार यानि 11 मई से एक ट्रेन में यात्रियों की संख्या में विस्तार करके 1700 कर दिया था, जिसके कारण इन  पांच दिनों में ज्यादा प्रवासियों ने सफर किया। रेलवे ने बताया कि 14 मई गुरुवार को रेलवे ने रिकार्ड 145 श्रमिक विशेष ट्रेनों का संचालन किया, जिसकी वजह से एक ही दिन में रिकार्ड 2.10 लाख से ज्यादा प्रवासियों की घर वापसी हो सकी।   
उत्तर पूर्वी राज्यों में पहुंची ज्यादा ट्रेनें
रेलवे के अनुसार इन श्रमिक विशेष ट्रेनों में सबसे ज्यादा उत्तर पूर्वी राज्यों में सबसे ज्यादा ट्रेनें प्रवासियों को लेकर पहुंची हैं। इनमें सबसे ज्यादा 490 ट्रेनें उत्तर प्रदेश, 254 ट्रेने बिहार, 79 ट्रेने मध्य प्रदेश, 48 ट्रेने झारखंड 22 ट्रेने राजस्थान में विभिन्न शहरों के लिए चलाई जा चुकी हैं। इसके अलावा इन ट्रेनों का संचालन राज्यों की मांग पर आंध्र प्रदेश, असम, छत्तीसगढ़, हिमाचल प्रदेश, जम्मू और कश्मीर, कर्नाटक, केरल, महाराष्ट्र, मणिपुर, ओडिशा, तमिलनाडु, तेलंगाना, उत्तराखंड और पश्चिम बंगाल के लिए भी किया गया है, जिनमें प्रवासी अपने घरों तक पहुंचे हैं।
प्रवासियों के लिए मील का पत्थर बनी ट्रेने
रेलवे ने कहा कि ट्रेनों में सवार होने से पहले यात्रियों की कोविड-19 की  समुचित जांच की जा रही है। यात्रा के दौरान यात्रियों को नि:शुल्क भोजन और पानी दिया जाता है। वहीं हाल ही में प्रवासी श्रमिकों की घर वापसी पर केंद्रीय गृह मंत्रालय ने कहा गया था कि विभिन्न जगहों पर फंसे  हुए श्रमिकों को शीघ्र उनके घर पहुंचाने के लिए रेलवे अब हर दिन 100 श्रमिक विशेष ट्रेनें चलाएगा। जबकि रेलवे ने एक दिन पहले 145 ट्रेने चलाकर इन विशेष ट्रेनों को प्रसासी श्रमिकों के लिए मील का पत्थर साबित किया है।
16May-2020



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