शनिवार, 2 जनवरी 2021

पहली बार जीएसटी राजस्व संग्रह1.15 लाख करोड़ के पार

देश की अर्थव्यवस्था में तेजी से सुधार के संकेत हरिभूमि ब्यूरो.नई दिल्ली। वैश्विक कोरोना महामारी के कारण प्रभावित हुई देश की अर्थव्यवस्था धीरे-धीरे सुधार की पटरी पर लौटती नजर आ रही है। ऐसे संकेत दिसंबर माह में जीएसटी संग्रह के 1.15 लाख करोड़ रुपये के आंकड़े को पार करने से मिल रहे हैं। वर्ष 2020 के अंतिम माह यानि बीते माह दिसंबर में जीएसटी का संग्रह पिछले साल दिसंबर 2019 के मुकाबले 12 फीसदी अधिक रहा। वित्त मंत्रालय के सूत्रों के अनुसार नया साल देश की अर्थव्यवस्था में बेहतर सुधार होने की उम्मीद है। हालांकि इसके लिए केंद्र सरकार देश में कोरोना महामारी से प्रभावित हुई अर्थव्यवस्था में सुधार के लिए लगातार जिस प्रकार के उपाय कर रही है, उसके सकारात्मक नतीजे सामने आते नजर आ रहे हैं। ऐसे ही सुधारात्मक उपायों का परिणाम है कि देश में कोरोना संकट के बावजूद बीते माह दिसंबर में वर्ष दिसंबर 2020 के दौरान सर्वाधिक जीएसटी का संग्रह दर्ज किया गया। इससे स्पष्ट है कि देश की अर्थव्यवस्था में तेजी के साथ सुधार हो रहा है। मंत्रालय के अनुसार देश में जीएसटी लागू होने के बाद से अब तक पहली बार सर्वाधिक जीएसटी संग्रह दिसंबर 2020 के दौरान 1,15,174 करोड़ रहा है। यह दिसंबर 2019 की तुलना में दिसंबर 2020 के दौरान जीएसटी राजस्व का संग्रह 12 फीसदी अधिक रहा। मंत्रालय के अनुसार कोरोना काल के दौरान यह लगातार ऐसा तीसरा महीना है, जब जीएसटी संग्रह एक लाख करोड़ रुपये के आंकड़े का पार करता नजर आया। वित्त मंत्रालय के मुताबिक कुल राजस्व में केंद्रीय जीएसटी का योगदान 21,365 करोड़ रुपये, राज्य जीएसटी 27,804 करोड़ रुपये रहा है। जबकि इसमें इस दौरान एकीकृत जीएसटी 57,426 करोड़ रुपये और उपकर 8,579 करोड़ रुपये शामिल है। मंत्रालय ने बताया कि इस दौरान पिछले साल के इसी महीने के मुकाबले माल के आयात से राजस्व 27 फीसदी अधिक रहा और घरेलू लेनदेन (सेवाओं के आयात सहित) से राजस्व आठ फीसदी अधिक रहा। अब तक अप्रैल 2019 के महीने में जीएसटी संग्रह 1,13,866 करोड़ रुपये रहा था, जो उच्चतम स्तर था। चालू वित्त वर्ष 2020-21 में कोरोना वायरस महामारी की वजह से लगाए गए लॉकडाउन से जीएसटी राजस्व प्रभावित रहा है। जबकि बीते वित्त वर्ष 2019-20 में 12 महीनों में से आठ महीनों में जीएसटी राजस्व एक लाख करोड़ रुपये से अधिक दर्ज किया गया था। ----ऐसे बढ़ा जीएसटी संग्रह का आंकड़ा--- मंत्रालय के अनुसार मौजूदा वित्तीय वर्ष के पहले नौ माह कोरोना महामारी से प्रभावित रहे, लेकिन अर्थव्यवस्था के लिए सरकार के उपायों के कारण जीएसटी संग्रह में मामूली उतार चढ़ाव के बीच सुधार देखा गया है। मसलन इस दौरान दिसंबर के सर्वाधिक जीएसटी संग्रह के अलावा अप्रैल में 32,172 करोड़, मई में 62,151 करोड़, जून में 90,917 करोड़, जुलाई में 87,422 करोड़, अगस्त में 86,449 करोड़, सितंबर में 95,480 करोड़, अक्टूबर में 1,05,155 करोड़, नवंबर में 1,04,963 करोड़ रुपये के जीएसटी राजस्व का संग्रह दर्ज किया गया। -------------------------------------------- छग, मप्र व हरियाणा समेत 23 राज्यों में बढ़ा जीएसटी राजस्व हरिभूमि ब्यूरो.नई दिल्ली। देश में जीएसटी लागू होने के बाद बीते माह दिसंबर में अब तक का सर्वाधिक जीएसटी राजस्व का संग्रह किया गया है, जिसमें इस जीएसटी संग्रह को बढ़ाने में छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश, हरियाणा, राजस्थान, यूपी जैसे 23 राज्यों ने भी अपना योगदान दिया है। वित्त मंत्रालय के अनुसार जब से देश में जीएसटी लागू हुआ है, उसमें दिसंबर 2020 ऐसा माह रहा है, जब सर्वाधिक 1,15,174 करोड़ जीएसटी राजस्व संग्रह दर्ज किया गया, जो दिसंबर 2019 के मुकाबले 12 फीसदी अधिक आंका गया। जबकि बीते साल के अंतिम माह दिसंबर में केंद्र अधिकार क्षेत्र समेत राज्यों ने 87,153 करोड़ जीएसटी राजस्व का योगदान दिया। दिसंबर 2019 के दौरान राज्यों का योगदान 81042 करोड़ रुपये का था। इसमें बीते दिसंबर के दौरान जिन 23 राज्यों के जीएसटी संग्रह में बढ़ोतरी दर्ज की गई है, उसमें बीते दिसंबर में छत्तीसगढ़ ने दिसंबर 2019 के 2136 करोड़ के मुकाबले 2349 करोड़ जीएसटी राजस्व का संग्रह करके दस फीसदी की वृद्धि दर्ज की है। इसी प्रकार मध्य प्रदेश ने पिछले 2434 करोड़ के मुकाबले 2615 करोड़ और हरियाणा ने 5365 करोड़ के मुकाबले 5747 करोड़ रुपये के जीएसटी राजस्व का संग्रह करके 7-7 फीसदी की वृद्धि की है। इसके अलावा राजस्थान ने 16 फीसदी, उत्तर प्रदेश, तमिलनाडु, कर्नाटक और केरल ने 8-8 फीसदी, बिहार, पंजाब और सिक्किम ने 5-5 फीसदी, उत्तराखंड ने 3 फीसदी, पश्चिमी बंगाल ने दस फीसदी, ओडिशा ने 11 फीसदी, गुजरात ने 13 फीसदी, महाराष्ट्र ने 7 फीसदी, आंध्र प्रदेश ने 14 फीसदी, तेलंगाना ने 4 फीसदी और त्रिपुरा ने 25 फीसदी जीएसटी संग्रह में बढ़ोतरी दर्ज की है। वहीं राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली, चंडीगढ़, हिमाचल प्रदेश, जम्मू-कश्मीर, अरुणाचल प्रदेश, मणिपुर, पुडुचेरी,गोवा, लक्षद्वीप, अंडमान, असम, मेघालय जैसे कई राज्य व केंद्र शासित प्रदेश में जीएसटी संग्रह में कमी दर्ज की गई है। 02Jan-2021

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