गुरुवार, 16 जून 2016

तो अलग कॉरिडोर पर दौड़ेंगे मालवाही वाहन!

देश में 28 नए सड़क मार्ग बनाने पर अध्ययन शुरू
सड़क हादसों में कमी लाने का बन सकता है विकल्प
ओ.पी. पाल. नई दिल्ली।
देश की सड़को पर बढ़ते हादसों से हलकान केंद्र सरकार ने सड़क परियोजनाओं और परिवहन व्यवस्था को सुरक्षित बनाने में जुट गई है। राष्ट्रीय राजमार्गो पर इस हादसों का बड़ा कारण माने जा रहे ट्रक एवं डंपर जैसे मालवाहक वाहनों को देश में अलग से सड़क मार्ग यानि कॉरिडोर बनाने की योजना शुरू करने की तैयारी है। इसके लिए सरकार ने टीसीआई की रिपोर्ट में 28 नए सड़क मार्ग बनाने के प्रस्ताव का अध्ययन कराना शुरू कर दिया है।
केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय के अनुसार पिछले सप्ताह देश में सड़क हादसों पर जारी रिपोर्ट ने सरकार की चिंताएं बढ़ा दी है, जिसमें आजाद भारत की सबसे ज्यादा सड़क दुर्घटनाओं और उनमें मारे गये लोगों की संख्या में इजाफा दर्ज किया गया है। सरकार के बुनियादी ढांचे को मजबूत करने की दिशा में देश में सड़कों को सुरक्षित करने की प्राथमिकता के साथ सड़क निर्माण की परियोजनाओं में इजाफे के बावजूद सरकार अन्य विकल्पों पर विचार कर रही है। सूत्रों के अनुसार सड़क हादसों के जारी आंकड़ो के बाद ही केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी को सड़क क्षेत्र से जुड़ी ट्रांसपोर्ट कॉपोर्रेशन आॅफ इंडिया यानि टीसीआई तथा आईआईएम कोलकता द्वारा देश में सड़क मार्ग से माल ढुलाई की परिचालन दक्षता पर एक संयुक्त रिपोर्ट सौंपी गई है। इस रिपोर्ट में मालवाहक वाहनों के लिए 2014-15 के दौरान 28 सड़क मार्गो पर अध्ययन का जिक्र है, जिसमें ट्रक जैसे मालवाहक वाहनों के लए नए मार्ग बनाने की सिफारिश की गई है। नए कॉरिडोर बनाने का मकसद भी स्पष्ट किया गया है, जिससे सड़क के जरिए मालभाडे और ट्रकों के स्टॉप टाइम को कम करने के साथ र्इंधन और समय की बबार्दी को कम किया जा सकता है और अन्य वाहनों के सफर को सुरक्षित और सुगम बनाने में मदद मिल सकती है।
पिछले सर्वेक्षण से हुई तुलना
टीसीआई ने इस ताजा रिपोर्ट की तुलना वर्ष 2008-09 और 2011-12 के सर्वेक्षण से की है जिसमें इस बात का जिक्र है कि परिवहन क्षेत्र इस दौरान क्या मुख्य परिवर्तन हुए हैं और इनका क्या प्रभाव हुआ है। रिपोर्ट में सड़क मार्ग से माल ढुलाई की परिचालन दक्षता के अध्ययन में परिचालन दक्षता बढ़ाने के विभिन्न उपायों के सुझाव भी दिये गये हैं। अध्ययन बताया गया है। टीसीआई की रिपोर्ट के अनुसार 2011-12 तक टोल कलेक्शन के तरीके में सुधार आया है, लेकिन पेपर चैकिंग, टैक्स कलेक्शन, राज्यों की चैक पोस्ट, सड़क पर पुलिस का ट्रक को रोककर पूछताछ करने से उसे गतंव्य स्थान तक पहुंचने में देरी दर्ज की गई।
सरकार को दिये सुझाव
टीसीआई ने अपनी ताजा रिपोर्ट में केंद्र सरकार को सुझाव दिये हैं कि देश में अलग माल कॉरिडोर के रूप में सड़क निर्माण करने से सड़कों के जरिए ट्रक जैसे मालवाहक वाहनों से ढुलाई को भी बेहतर बनाया जा सकेगा। सड़क सुरक्षा के लिहाज से भी इस रिपोर्ट में यह भी सिफारिश की गई है कि पुराने ट्रकों की जगह नए जनरेशन के ट्रकों को सड़को पर उतारकर इन्हें मल्टी एक्सल ट्रक और टेÑलर से बदलना चाहिए, ताकि र्इंधन की भी बचत हो सके। इस रिपोर्ट में मल्टी मॉडल ट्रांसपोर्ट को बढ़ावा देते हुए ज्यादा प्रभावी और लागत कम होने का भी जिक्र है। वहीं पर्यावरण की चुनौती से निपटने के साथ सरकार की रेल और जलमार्ग परिवहहन योजनाओं को भी बल मिलेगा।
जीएसटी से भी होगा फायदा
सरकार को सौंपी गई टीसीआई की रिपोर्ट में जीएसटी कानून लागू होने के फायदे भी गिनाए गये है, जिससे अन्य राज्यों में टैक्स कलेक्शन और दस्तावेजों के जांच के नियम आसान हो सकेगा। वहीं ट्रकों की माइलेज को बढ़ाया जाए क्योंकि अभी भी खराब सड़कों की वजह से ट्रकों की स्पीड काफी कम है। राज्यों की सीमा पर ढुलाई के दस्तावेजों को चेक करने व कर लेने जैसे कार्यों को कम करने और अन्य कार्यों को सरल बनाने की सलाह दी गई है।
16June-2016

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