स्वीडन के विशेषज्ञों के साथ तकनीकी मदद को हुआ करार
हरिभूमि ब्यूरो. नई दिल्ली।
देश
में बढ़ते सड़क हादसों को लेकर गंभीर केंद्र सरकार के उपायों के बावजूद असामयिक
मौतों में कमी नहीं आ सकी है। ऐसे में भारत ने सड़क सुरक्षा की दिशा में तकनीकी
मदद के लिए स्वीडन के साथ समझौता किया है।
केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्रालय के अनुसार हाल ही में स्वीडन
के स्कॉटहोम में सड़क सुरक्षा को लेकर हुए उच्च स्तरीय अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन में
हिस्सा लेने के बाद केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी स्वदेश
लौटे हैं। स्वीडन दौरे पर गये केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने सड़क हादसों में कमी
लाने के लिए संयुक्त राष्ट्र के 2030 के लक्ष्य पर काम करने की प्रतिबद्धता
दोहराई। मंत्रालय के दौरान गडकरी के साथ भारतीय प्रतिनिधिमंडल में शामिल आईआईटी
दिल्ली ने भारत में सड़क हादसों को रोकने के लिए सड़क सुरक्षा क्षेत्र में तकनीकी
इस्तेमाल के लिए स्वीडन के साथ समझौता किया है, जिसमें स्वीडन के साथ मिलकर भारत
सड़क सुरक्षा के लिए स्वीडिश-इंडिया ट्रांसपोर्ट इनोवेशन एंड सेफ्टी
प्लेटफार्म के रूप काम करेगा। आईआईटी दिल्ली के मैकेनिकल इंजीनियरिंग
डिपार्टमेंट के प्रोफेसर और इस प्रोजेक्ट के प्रमुख प्रो. अनूप चावला के
हवाले से मंत्रालय के एक अधिकारी ने बताया कि भारत में दुनियाभर के देशों के
मुकाबले सबसे ज्यादा सड़क हादसे और उनमें मरने वालों की संख्या बहुत ज्यादा है,
जिसके लिए दोनों देशों के तकनीकी विशेषज्ञ भारत में बढ़ते हादसों पर शोध अध्ययन
करने के बाद एक रिपोर्ट तैयार करेंगे, जिसके आधार पर दोनों देश के विशेषज्ञ सड़क
सुरक्षा क्षेत्र में हादसों को रोकने की दिशा में तकनीकी इस्तेमाल से कार्य को
अंजाम देंगे। स्कॉटहोम में उच्च स्तरीय वैश्विक सम्मेलन में
भी गडकरी सुरक्षित सड़कों के लिए इंजीनियरिंग डिजाइनों के बारे में
किये जा रहे कार्यो की जानकारी देते हुए सड़क हादसों में कमी लाने की प्रतिबद्धता
प्रकट की है। जिसके लिए भारत सरकार सड़क सुरक्षा के लिए 'सुरक्षित
प्रणाली दृष्टिकोण' अपना रही है।
सड़क सुरक्षा कानून बेअसर
सड़क सुरक्षा कानून बेअसर
मोदी-2 सरकार में संसद में लंबित सड़क सुरक्षा कानून के
लागू होने के बावजूद भारत में सड़क हादसों में कमी न आने को लेकर चिंतित सरकार अब
सड़क सुरक्षा क्षेत्र में तकनीकी इस्तेमाल पर बल देकर गंभीरता से काम करने के
प्रयास में है। इसलिए स्वीडन में खुद केंद्रीय मंत्री गडकरी ने विशेषज्ञों के साथ
चर्चा की और स्वीडन में सड़क सुरक्षा के लिए अपनाए गये तौर तरीकों और यातायात
नियमों की जानकारी लेने में दिलचस्पी ली। मंत्रालय के अनुसार देश में सड़क सुरक्षा
के क्षेत्र के काम में यदि सरकार को कानून और नियमों में बदलाव करने पड़े, या फिर
सड़कों और वाहनों के डिजाइन में बदलाव करने की जरूरत महसूस की गई तो उसके लिए भी
विशेषज्ञों की रिपोर्ट के आधार पर सरकार करने को तैयार रहेगी। गौरतलब है कि भारत
में हर साल सड़क हादसों में डेढ़ लाख से ज्यादा लोगों की मौत हो रही है।
24Feb-2020
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