शुक्रवार, 31 जनवरी 2020

रेल कोचों के नवीकरण में मील का पत्थर होगी सोनीपत कोच फैक्ट्री


इस साल के अंत तक पूरा होगा कोच फैक्ट्री परियोजना का काम      
.पी. पाल. सोनीपत(हरियाणा)
हरियाणा के सोनीपत में निर्माणधीन रेल कोच नवीकरण कारखाना आधुनिक एलएचबी कोचों के मध्यवती नवीकरा को पूरा करने वाला देश में अपनी तरह का पहला कारखाना होगा, जो भारतीय रेलवे के आधुनिकीकरण करने के लक्ष्य में मील का पत्थर साबित होगा। इस कोच फैक्ट्री परियोजना को इस साल के अंत तक पूरा कर लिया जाएगा।
भारतीय रेलवे के कायाकल्प करने के लिए चलाई जा रही परियोजनाओं में रेलवे पारंपरिक आईसीएफ कोचों के स्थान पर ट्रेनों में उच्चगति क्षमता वाले आधुनिक कोचों को लगाने का चरणबद्ध कार्य कर रहा है। आधुनिक एलएचबी कोचों के निर्माण हरियाणा में सोनीपत जिले के बड़ी औद्योगिक क्षेत्र में रेल कोच फैक्ट्री में एलएचबी कोचों के मध्यवर्ती नवीनीकरण यानि को पूरा किया जाएगा। इस कोच फैक्ट्री के निर्माण परियोजना की आधारशिला नौ अक्टूबर 2018 को पीएम मोदी ने रखी थी, जिसका कार्य फास्ट ट्रैक पर चल रहा है और इसे दिसंबर 2020 तक पूरा कर लिया जाएगा। मसलन अगले साल से इस फैक्ट्री में आधुनिक रेल कोच एलएचबी के निर्माण और उनके नवीकरण का काम शुरू होने की उम्मीद की  जा रही है। उत्तर रेलवे के महाप्रबंधक टीपी सिंह और सोनीपत के सांसद रमेश कौशिक ने मंगलवार को नेशनल मीडिया टीम के साथ इस कोच फैक्ट्री के निर्माण कार्यो का निरीक्षण किया। इस दौरान उत्तर रेलवे के विभिन्न विभागों के प्रमुख विभागाध्यक्ष भी मौके पर मौजूद रहे। महाप्रबंधक टीपी सिंह ने बताया कि इस फैक्ट्री में 160 किमी प्रति घंटे तक की उच्चगति क्षमता और क्रैश रोधी आधुनिक एलएचबी कोचों के मध्यवर्ती नवीकरण यानि मरम्मत और उनकी सजावट को पूरा करने का काम होगा, जो देश में अपने आप में अकेला कारखाना होगा। उन्होंने बताया कि उत्तर रेलवे द्वारा करीब 535 करोड़ की इस कोच फैक्ट्री परियोजना पूरी होने पर शुरूआत में इस कारखाने में प्रतिवर्ष 250 और फिर उसे बढ़ाकर 500 कोच तैयार करने की क्षमता होगी। रेलवे की दूसरे चरण में यह क्षमता एक हजार तक करने की योजना भी है।
अत्याधुनिक मानकों पर खड़ी होगी फैक्ट्री
इस परियोजना के लिए एचएसआईआईडीसी से 22 फरवरी 2019 को 150 एकड़ जमीन लीज पर ली गई है, जिसमें से 121 एकड़ में कार्यशाला, 7 एकड़ में कॉनकॉर साइडिंग से कनेक्टिविटी और 22 एकड़ में आवासीय आवास हैं। करीब 64 हजार वर्ग मीटर प्री-इंजीनियर बिल्डिंग (पीईबी) शेड का निर्माण 7 हजार मीट्रिक टन इस्पात संरचनाओं, गैलवेल्यूम और यूवी संरक्षित पॉली कार्बोनेट शीटिंग, टर्बो वेंट और वैक्यूम डेवेरेटेड एपॉक्सी फ्लोरिंग के साथ किया जा रहा है। पीईबी शेड की सुविधाओं में मेन शॉप, बोगी शॉप, बॉडी रिपेयर शॉप, पेंट शॉप, शॉट ब्लास्टिंग शॉप, विविध शॉप, पावर कार शॉप और स्टोर वार्ड शामिल हैं। करीब 16,400 वर्ग मीटर क्षेत्र में प्रशासनिक ब्लॉक, प्रशिक्षण केंद्र, इलेक्ट्रिक सब स्टेशन, कैंटीन, सुरक्षा और शौचालय ब्लॉक बन रहे हैं। वहीं स्टाफ आवास में 49 इकाइयों का निर्माण किया जा रहा है।
अत्याधुनिक मशीनरी और प्‍लांट से लैस
उत्तर रेलवे के अधिकारियों ने यह भी बताया कि इस कोच नवीकरण कारखाने को 153 करोड़ रुपये के अत्याधुनिक मशीनरी और प्‍लांट से सुसज्जित किया जाएगा, जिसमें कोच ट्रैवर्सर्स, कोच शॉट ब्लास्टिंग प्लांट, सुखाने ओवन के साथ कोच पेंट बूथ, बोगी फ्रेम शॉट ब्लास्टिंग प्लांट, बोगी पेंट बूथ और सुखाने के सयंत्र शामिल हैं। ओवन, स्प्रिंग शॉट ब्लास्टिंग प्लांट, मैग्ना-फ्लक्स परीक्षण मशीन, स्प्रिंग लोड टेस्टिंग मशीन और पेंट बूथ, कोच वॉशिंग प्लांट, पोर्टल व्हील लैथ, वर्टिकल टरेट लैथ, एक्‍सल टर्निंग लैथ, व्‍हील प्रेस, रिमोट नियंत्रित ईओटी क्रेन, सिंक्रनाइज़ कोच लिफ्टिंग जैक, एयर कंप्रेशर्स, वेल्डिंग मशीन, विभिन्न फिक्‍सर, उपकरण और प्लांट आदि बनाए जा रहे हैं। एक स्वचालित लाइन (4.0 कंप्लाइंट प्लांट) को बोगियों के असेंबली व डिसेंबली स्‍थापित करने की योजना बनाई गई है। सामग्री भंडारण के लिए स्वचालित भंडारण सह रैकिंग सिस्टम, जिसमें सामान भंडारण रैक, फ्लैट पैलेट और बंद डिब्बे शामिल हैं की स्‍थापना की जा रही है। इसमें सड़क मोबाइल क्रेन, हाइड्रोलिक स्टेकर, फोर्कलिफ्ट, प्लेटफ़ॉर्म ट्रक, हैंड पैलेट ट्रक आदि सम्‍मलित हैं। कारखाने में विभिन्न उपयोगिताओं जैसे कंप्रैस हवा और औद्योगिक गैस पाइप लाइन जल आपूर्ति व्यवस्था, फायर हाइड्रेंट, जल निकासी, सीवरेज, दूरसंचार नेटवर्क आदि प्रदान किए जाएंगे। विद्युत कार्यों में 500 केवीए डीजी पावर बैकअप के साथ 11 केवी इलेक्ट्रिक सब स्टेशन शामिल हैं।
29Jan-2020



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