सोमवार, 13 जनवरी 2020

ईपीएफओ ने शुरू किया ‘निधि आपके निकट’ कार्यक्रम

हर माह हो सकेगा पीएफ के धन की समस्या का समाधान
हरिभूमि ब्यूरो. नई दिल्ली।
केंद्रीय भविष्य निधि संगठन ने पीएफ धारकों को राहत देने की दिशा में हर माह की दस तारीख को 'निधि आपके निकट' कार्यक्रम चलाने का ऐलान किया है। इस कार्यक्रम के जरिए ईपीएफओ पीएफ धारकों के जमा धन की हर समस्या का समाधान करेगा।                              
केंद्रीय श्रम एवं रोजगार मंत्रालय के प्रवक्ता ने ईपीएफओ के हवाले से यह जानकारी देते हुए बताया कि पीएफ धारकों की उनके जमा धन या पीएफ से जुड़ी कोई भी समस्या होगी तो उसके लिए एक नई सेवा के रूप में ईपीएफओ 'निधि आपके निकट' कार्यक्रम शुरू कर रहा है।  इस कार्यक्रम के   जरिए ईपीएफओ के 135 क्षेत्रीय कार्यालयों पीएफ धारकों की हर समस्या का समाधान किया जाएगा। ईपीएफओ द्वारा शुरू किये जा रहे इस कार्यक्रम विभाग अपनी नई स्कीमों की जानकारी और उनके नियमों की भी जानकारी देगा। ईपीएफओ का इस कार्यक्रम को शुरू करने का मकसद है कि वह अपने अंशधारकों की हर समस्या का समाधान करने के साथ भविष्य निधि की प्रणाली को ऐसी बेहतर बना सके, जिसमें पारदर्शिता के साथ खाताधारकों की परेशानी को दूर किया जा सके। ईपीएफओ के अनुसार इस कार्यक्रम में खाताधारकों की शिकायतों का निपटरा करते हुए उनकी पीएफ संबन्धी सभी समस्याओं को दूर करने से कर्मचारियों व खाताधारकों को फायदा होगा। यदि इस कार्यक्रम में किसी तरह से खाताधारक की समस्या अनसुलझी रह जाती है तो उसके विकल्प में उसके लिए उसे एक आवेदन देना होगा, जिसके समाधान के लिए ब्रांच अधिकारी उस समस्या का समाधान करने के लिए कार्यवाही करेगा और इस संबन्ध में हर माह की 25 तारीख तक खाताधारक को एक्शन टेकन रिपोर्ट में उसकी समस्या का जवाब दिया जाएगा।
पंजीकरण का सरलीकरण
श्रम एवं रोजगार मंत्रालय ने यह भी जानकारी दी है कि इसके अलावा ईपीएफओ और ईएसआईसी के लिए वर्ष 2019 में सामान्य पंजीकरण फॉर्म को चालू कर इसका सरलीकरण किया गया है जिसमें नवंबर 2019 तक 1,27,544 इकाइयों को ईपीएफओ के साथ पंजीकृत किया गया है, तो 1,07,681 इकाइयां ईएसआईसी के साथ पंजीकृत की जा चुकी हैं। वहीं श्रम सुविधा पोर्टल के साथ राज्यों का एकीकरण किया जा रहा है। अभी तक हरियाणा, गुजरात, राजस्थान, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, पंजाब, उत्तराखंड और दिल्ली को पोर्टल के साथ एकीकृत किया जा चुका है। डेटा साझा किया जा रहा है और एलआईएन को राज्य श्रम प्रवर्तन एजेंसियों द्वारा कवर किए गए प्रतिष्ठानों को आवंटित किया जा रहा है।
11Jan-2020

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