गुरुवार, 17 अक्तूबर 2019

संसदीय समिति ने संविधान संशोधन विधेयक की जांच

केंद्रीय सुरक्षा बलों व अन्य विभागों से किया विचार विमर्श
हरिभूमि ब्यूरो. नई दिल्ली।
पूर्वोत्तर के चार राज्यों की छठी अनुसूची वाली स्वायत्तशासी परिषदों को शक्तियें का अंतरण करने के मकसद से संसद में पेश किये गये संविधान (125वां संशोधन) विधेयक की संसदीय समिति ने जांच पड़ताल शुरू कर दी है।
राज्यसभा की विभाग संबंधित गृह कार्य संबंधी संसदीय स्थायी समिति के सभापति आनंद शर्मा की अध्यक्षता में हुई बैठक समिति ने महानिदेशक (सीआरपीएफ), महानिदेशक (सीआईएसएफ), महानिदेशक (एनएसजी) द्वारा इन बलों के कार्यकरण के संबंध में प्रस्तुतियों के साथ उनके इस विधेयक पर विचार मांगे गये। इसके अलावा समिति ने संविधान (125वां संशोधन) विधेयक-2019 के संबंध में असम, मेघालय, मिजोरम और त्रिपुरा राज्य सरकारों के मुख्य सचिव/प्रतिनिधियों के साथ भी विचार विमर्श किया और उनके सुझाव प्राप्त किये। इन अधिकारियों के अलावा इस बैठक में गृह मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी भी शामिल हुए। गौरतलब है कि यह विधेयक इन राज्यों की छठी अनुसूची वाली स्वायत्तशासी परिषदों को शक्तियों का अंतरण करने के उद्देश्य से लाया गया है। इस विधेयक संसदीय समिति से जांच करने और इस पर प्रतिवेदन देने के लिए राज्य सभा के सभापति द्वारा इस समिति को सौंपा गया है।
दिल्ली के यातायात पर चर्चा            
इस संसदीय स्थायी समिति ने दिल्ली में बिगड़ती यातायात की स्थिति के प्रबंधन के संबंध में चर्चा की। बैठक में गृह मंत्रालय, सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय, आवासन और शहरी कार्य मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों, दिल्ली पुलिस के आयुक्त के अलावा दिल्ली पुलिस के अन्य वरिष्ठ अधिकारियों, डीडीए, डीएमआरसी, राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र योजना बोर्ड के प्रतिनिधियों तथा दिल्ली के सभी तीनों नगर निगमों के प्रतिनिधियों और उत्तर प्रदेश, हरियाणा और राजस्थान की राज्य सरकारों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया। समिति पिछले वर्ष से इस विषय की जांच कर रही है और इस विषय पर यह तीसरी बैठक है।
13Oct-2019

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