गुरुवार, 31 अक्तूबर 2019

चुनावी वादों को पूरा करने के दबाव में होगी हरियाणा सरकार!

न्यूनतम साझा कार्यक्रम के लिए गठित होंगी समितियां
विधानसभा के विशेष सत्र के उपरांत होगा मंत्रिमंडल का विस्तार
हरिभूमि ब्यूरो. नई दिल्ली।
हरियाणा की भाजपा-जजपा गठबंधन सरकार न्यूनतम साझा कार्यक्रम तैयार करने के लिए समितियों का गठन करेगी, ताकि राज्य और जनहित के लिए दोनों दलों द्वारा किये गये चुनावी वादों को पूरा करने के दबाव को कम किया जा सके।
हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने मंगलवार को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, उप राष्ट्रपति एम. वेंकैया नायडू और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह से शिष्टाचार भेंट की। इन मुलाकातों के बाद मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने यहां संवाददाताओं से बातचीत के दौरान हरियाण के विकास के लिए प्रतिबद्धता को जाहिर करते हुए कहा कि राज्य में भाजपा और जजपा के चुनावी घोषणा पत्र में किये गये वादों के आधार पर एक न्यूनतम साझा कार्यक्रम तैयार किया जाएगा, जिसे तैयार करने के लिए दोनों दलों के नेताओं की समितियों को गठन किया जाएगा। रविवार को मुख्यमंत्री की शपथ लेने के बाद सोमवार की शाम को ही मनोहर लाल खट्टर दिल्ली पहुंच गये थे, जिन्होंने हरियाणा भवन में रात्रि विश्राम के बाद मंगलवार को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, उप राष्ट्रपति एम. वेंकैया नायडू और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह से शिष्टाचार भेंट की।
जल्द होगा मंत्रिमंडल का विस्तार
हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने मंगलवार को मंत्रिमंडल के विस्तार के बारे में बताया कि जल्द ही हरियाणा विधानसभा के विशेष सत्र आयोजित होगा और उसके बाद मंत्रिमंडल का विस्तार किया जाएगा। गौरतलब है कि गत रविवार को मनोहरलाल खट्टर ने मुख्यमंत्री पद की शपथ ली और भाजपा से गठबंधन करने वाली जजपा के दुष्यंत चौटाला को उपमुख्यमंत्री की शपथ दिलाई गई। भाजपा-जजपा गठबंधन सरकार के मंत्रिमंडल का विस्तार अभी नहीं हुआ है, जिसमें में दोनों दलों की भागीदारी को लेकर आपसी सहमति बनाई जाएगी। हरियाणा की 14वीं विधानसभा के चुनाव में किसी भी दल को बहुमत नहीं मिल सका और सबसे ज्यादा 40 सीटे लेकर भाजपा ने जननायक जनता पार्टी के साथ गठबंधन करके सरकार बनाने का दावा किया था, जजपा के दस विधायक निर्वाचित होकर आए हैं। 
नायडू को दिया गीता महोत्सव का न्यौता
हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने उपराष्ट्रपति एम. वेकैंया नायडू से उनके निवास पर मुलाकात करने के बाद उन्हें कुरुक्षेत्र में 22 नवंबर से 10 दिसंबर तक आयोजित होने वाले अंतर्राष्ट्रीय गीता महोत्सव 2019 का उद्घाटन करने के लिए आमंत्रित किया। मुख्यमंत्री ने मंगलवार को ही रक्षामंत्री राजनाथ सिंह से उनके सरकारी आवास पर शिष्टाचार भेंट की। इससे पहले उन्होंने राष्ट्रपति भवन में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात की। इनके अलावा मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने भाजपा के संगठन महासचिव बीएल संतोष से भी मुलाकात की है। इन मुलाकातों को मुख्यमंत्री ने शिष्टाचार भेंट करार दिया है।
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चुनावी वादों के दबाव हो सकता है चुनौती
हरियाणा में भाजपा-जजपा गठबंधन सरकार के लिए चुनावी घोषणापत्रों में दोनों दलों द्वारा किये गये वादें चुनौती साबित हो सकते हैं। राजनीतिकारों की माने तो इन दोनों दलों के ही वादों में कुछ ऐसे वादे हैं जो सीधे राज्य सरकार के खजाने पर विपरीत प्रभाव डालेंगे। इसलिए भाजपा और जजपा की इस गठबंधन सरकार में दोनों दलों के लिए ही इन चुनावी वादों को पूरा करने का दबाव बना रहना स्वाभाविक है। हालांकि दोनों दल अपने घोषणा पत्रों को साझा करके उनके लिए न्यूनतम साझा कार्यक्रम तैयार करेंगे, जिसके आधार पर गठबंधन किया गया है। खासकर जजपा जनता से कुछ ऐसे वादे करके दस सीटे जीतकर सरकार में शामिल हुई है, जो राज्य की आर्थिक स्थिति को प्रभावित कर सकती है। इसमें खासकर जजपा के बुजुर्गो की पेंशन राज्य सरकार के लिए किसी चुनौती से कम नहीं होगी।
क्या हैं जजपा के प्रमुख वादे
-शिक्षित बेरोजगारों को 11 हजार का बेरोजगारी भत्ता
-बुजुर्ग पेंशन के रूप में 5100 रुपये देना
-कर्मचारियों की पुरानी पेंशन नीति बहाल होगी
-हरियाणा के 75 फीसदी स्थानीय लोगों को आरक्षण
-किसानों के सहकारी बैंकों का पूरा कर्जा माफ करना
30Oct-2019




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