बुधवार, 10 जनवरी 2018

अब देशभर के रेलवे स्टेशन होंगे वाईफाई



भारतीय रेलवे ने तैयार की 700 करोड़ रुपये की योजना
हरिभूमि ब्यूरो. नई दिल्ली।
मोदी सरकार के ‘डिजीटल इंडिया’ अभियान को गति देने के लिए भारतीय रेलवे भी अपनी गतिविधियों व प्रणालियों को ऑनलाइन करने की मुहिम में जुटा है। इसी मुहिम के तहत यात्रियों की सुविधा के लिए रेलवे ने 700 करोड़ रुपये की एक योजना तैयार की है, जिसमें देश के तमाम रेलवे स्टेशनों को इंटरनेट की वाईफाई सुविधा से जोड़ा जाएगा।
रेल मंत्रालय के सूत्रों के अनुसार दो साल पहले रेलवे ने देश के प्रमुख 400 रेलवे स्टेशनों को चरणबद्ध तरीके से वाईफाई इंटरनेट की सुविधा से लैस करने के तहत दो सौ से ज्यादा स्टेशनों पर इस फैसले को लागू किया गया है। रेल मंत्री पीयूष गोयल ने ‘डिजीटल इंडिया’ की पहल को आगे बढ़ाने की दिशा में एक बैठक के दौरान रेलवे बोर्ड से विचार विमर्श करने के बाद देशभर के सभी साढ़े आठ हजार बड़े-छोटे रेलवे स्टेशनों पर वाईफाई की सुविधा मुहैया कराने वाली इस योजना को अंतिम रूप दिया गया है। इस योजना को लागू करने के लिए  700 करोड़ रुपये की लागत आने का अनुमान लगाया गया है। इस योजना में रेलवे दूर दराज और ग्रामीण इलाकों में इंटरनेट की चुनौती से निपटने का फार्मूला तलाश कर ठोस कदम उठा रहा है, ताकि सभी रेलवे स्टेशनों को वाईफाई की सुविधा से लैस किया जा सके। मंत्रालय के अनुसार मोदी सरकार की महत्वाकांक्षी ‘डिजीटल इंडिया’ अभियान के तहत भारतीय रेलवे पहले ही 216 बड़े स्टेशनों पर वाई-फाई सुविधा प्रारंभ कर चुका है। विश्वभर में इंटरनेट जैसी अत्याधुनिक प्रक्रिया के रोजमर्रा की जिंदगी का हिस्सा बनने के कारण रेलवे ने इस योजना को देशभर के तमाम रेलवे स्टेशनों पर लागू करने का निर्णय लिया है।
रेलवे स्टेशनों की पहचान
रेलवे के अनुसार यात्रियों को मुफ्त में वाईफाई सेवा मुहैया कराने के लिए शुरूआत में 1200 स्टेशनों पर तत्काल योजना को लागू करने का निर्णय लिया गया है। जबकि 7,300 ऐसे रेलवे स्टेशनों को चिन्हित किया गया, जहां रेल यात्रियों के साथ ग्रामीण और सुदूर इलाकों के स्थानीय लोगों को भी यह सुविधा मुहैया कराई जाएगी। रेलवे के सूत्रों ने बताया कि ग्रामीण इलाकों के रेलवे स्टेशनों में वाई-फाई के अलावा कियोस्क मशीनों की व्यवस्था भी की जाएगी, जहां बिलों का भुगतान करने जैसी दूसरी डिजिटल बैंकिंग, आधार अपडेट जैसी सेवाएं भी मुहैया हो सकेंगी।
‘नई ऑनलाइन विक्रेता पंजीयन प्रणाली’ शुरू
भारतीय रेलवे ने मंगलवार को रेलवे की प्रणालियों और प्रक्रियाओं को डिजिटल और पारदर्शी बनाने की प्राथमिकता को ध्‍यान में रखते हुए भारतीय रेल की अनुसंधान इकाई-अनुसंधान डि‍जाइन व मानक संगठन ने नई ऑनलाइन विक्रेता पंजीयन प्रणाली का शुभारंभ किया। केन्‍द्रीय रेल मंत्री पीयूष गोयल द्वारा आरडीएसओ की कार्य प्रणाली की समीक्षा के पश्‍चात यह नई प्रणाली विकसित की गई है। नई प्रणाली के अंतर्गत पंजीयन के लिए कई बदलाव किये गये है, जैसे आम लोगों की जानकारी तक पहुंच, निश्चित समयावधि में प्रक्रिया पूर्ण करना, प्रक्रियाओं को सरल बनाना, पूरे साल भर पंजीयन की सुविधा, आरडीएसओ वेबसाइट पर जानकारियों की उपलब्‍धता, सभी स्‍तरों पर निरंतर निगरानी, ऑनलाइन आंकड़ों का निरंतर अद्यतन, वेबसाइट के उपयोग में आसानी से कामकाज किया जा सके।
10Jan-2018

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