शनिवार, 30 जून 2018

जमीनी स्तर पर हो योजनाओं का खर्च: तोमर



केंद्र ने ‘दिशा’ पहल पर राज्यों के साथ की चर्चा
हरिभूमि ब्यूरो. नई दिल्ली।
मोदी सरकार की देश के विकास के लिए की गई जिला विकास समन्वय एवं निगरानी समिति (दिशा) के दो साल पूरे होने पर केंद्र सरकार ने राज्यों के विशेष सचिवों के साथ विचार-विमर्श किया। केंद्र ने योजनाओं को समयबद्ध ढंग से क्रियान्वित करने और योजनाओं के खर्च को जमीनी स्तर पर करने पर जोर दिया गया।
नई दिल्ली स्थित विज्ञान भवन में जिला विकास समन्वय एवं निगरानी समिति (दिशा) के दो साल पूरे होने पर 25 जून से लेकर 29 जून तक आयोजित वर्तमान ‘दिशा’ सप्ताह के तहत गुरुवार को केंद्रीय ग्रामीण विकास, पंचायती राज एवं खान मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर ने राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के विशेष सचिवों के साथ विस्तारपूर्वक विचार-विमर्श किया। इस दौरान दिशा पहल से संबंधित विभिन्न विषयों पर भी चर्चा की गई। वहीं तोमर ने ग्रामीण विकास राज्य मंत्री रामकृपाल यादव के साथ दिशा पहल को सहभागितापूर्ण गवर्नेंस का एक प्रभावशाली एवं प्रमुख साधन बनाने के तौर-तरीकों पर भी विचार-विमर्श किया। इस दौरान  तोमर ने दिंदोरी, जोधपुर, जशपुर, सीकर, जालौन, जबलपुर और संभल जिलों में दिशा समिति की जिला स्तरीय बैठक के दौरान सात सांसदों के अलावा 36 राज्य ग्रामीण विकास विभाग सचिवों के साथ भी संवाद किया। उन्होंने सभी सांसदों और अन्य प्रतिनिधियों से अपनी भागीदारी के साथ-साथ बैठकों की संख्या बढ़ाने का भी अनुरोध किया, ताकि योजनाओं का बेहतर क्रियान्वयन सुनिश्चित हो सके और इसके साथ ही उन योजनाओं पर फोकस किया जा सके जो समय से पीछे चल रही हैं। उन्होंने यह सुझाव दिया कि बैठकों की संख्या को भी दिशा पुरस्कारों का एक पैमाना बनाया जाना चाहिए।
पेपरलेस प्रणाली शुरू
केंद्रीय मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर ने इस मौके पर कागज रहित (पेपरलेस) बैठक के संपूर्ण समाधान के उद्देश्य की पूर्ति के लिए एक ‘मीटिंग मैनेजमेंट सॉफ्टवेयर’ भी लांच किया। इस सॉफ्टवेयर से बैठक का नोटिस तैयार करने, एजेंडा निर्धारित करने, सदस्यों के साथ संचार करने, एजेंडा एवं बैठक के विवरण को प्रसारित करने इत्यादि में मदद मिलेगी। वहीं ‘दिशा’ पर एक ई-बुक का भी विमोचन किया गया, जिसमें दिशा पहल की पृष्ठभूमि, सीखने संबंधी अनुभव, दिशा डैशबोर्ड की आवश्यकताएं, इसकी विशेषताएं और जिला एवं राज्यस्तरीय दिशा समितियों के दिशा-निर्देश शामिल हैं।
छग समेत पांच राज्यों को पुरस्कार
इस दौरान दिशा बैठकों के नियमित आयोजन की ‘दिशा’ कार्यक्रम में उत्कृष्ट कार्य के लिये छत्तीसगढ़, झारखंड, केरल, मिजोरम और उत्तराखंड को प्रशस्ति पुरस्कार दिये गए। ये पुरस्कार केंद्रीय मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर ने वितरित किये। पुरस्कार देते हुए तोमर ने जानकारी दी कि ‘दिशा’ के अन्तर्गत जिलों में 4 बैठकों से अधिक बैठक करने वाले राज्य को पुरुस्कृत किया जायेगा। उत्तराखण्ड राज्य सरकार की ओर से यह पुरस्कार उत्तराखण्ड के ग्रामीण विकास अपर आयुक्त डा. आरएस पोखरिया द्वारा प्राप्त किया गया। 
29June-2018

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