मंगलवार, 11 अप्रैल 2017

देश में जल्द बदलेगी परिवहन की सूरत!

केंद्र तैयार कर रहा है 10 लाख करोड़ की मेगा योजना
नेशनल ट्रांसपोर्ट मास्टर प्लान में जुटे कई मंत्रालय
ओ.पी. पाल
. नई दिल्ली।
देश की परिवहन व्यवस्था को दुरस्त करने की कवायद में जुटी केंद्र सरकार ने मल्टी मॉडल ट्रांसपोर्ट हब बनाने के लिए दस लाख करोड़ रुपये की लागत वाली ऐसी योजना तैयार की है, जिसमें देश के ट्रांसपोर्टेशन की सूरत बदल सकती है। मसलन सरकार की इस योजना के तहत यात्रियों व माल ढुलाई के लिए परिवहन के कई तरीकों का निर्बाध रूप से इस्तेमाल होने वाली व्यवस्था बनाना प्रमुख मकसद है।
केंद्रीय सड़क परिहवन एवं राजमार्ग मंत्रालय के अनुसार केंद्र सरकार ने एक नेशनल ट्रांसपोर्ट मास्टर प्लान पर काम करना शुरू कर दिया है, जिसके तहत दस लाख करोड़ रुपये की योजना को पटरी पर उतारने की तैयारी है। इस योजना के तहत सरकार ऐसी परिवहन व्यवस्था को बहाल करने का प्रयास कर रही है जिसमें यात्रियों के आने-जाने और माल ढुलाई के लिए परिवहन के अलग-अलग तरीकों का निर्बाध रूप से इस्तेमाल किया जा सके। मंत्रालय के अनुसार आजादी के बाद मंत्रालय ने देश में पहली बार नेशनल ट्रांसपोर्ट मास्टर प्लान बनाने की योजना को बढ़ावा देने का निर्णय लिया है। केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने इस योजना के तहत देशभर में ऐसे 10 मल्टी मॉडल परिहवन हब विकसित करने की योजना बनाई है, जिसमें रेलवे और शिपिंग मंत्रालय की साझीदारी शामिल होगी। सूत्रों की माने तो इस योजना को अंतिम रूप देने के लिए यह भी तय किया जा रहा है कि ऐसे ट्रांसपोर्ट हब कहां-कहां बनाए जाएंगे। इन मल्टी मॉडल ट्रांसपोर्ट हब के निर्माण कार्य का जिम्मा कार्य का जिम्मा भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण को सौंपने की तैयारी है।
मल्टी मॉडल ट्रांसपोर्ट हब सूत्रों के अनुसार केंद्र सरकार की इस योजना को सड़क परिवहन एवं राजमार्ग, शिपिंग, नागर विमानन और रेलवे मंत्रालय मिलकर तैयार कर रहे हैं। मसलन सरकार का इरादा इस योजना के तहत देश में मल्टी-मॉडल ट्रांसपोर्ट हब बनाने का है। यानि इस योजना में जहां रेलवे स्टेशन, मेट्रो स्टेशन और बस टर्मिनल का निर्माण किया जाएगा। सरकार का प्रयास होगा कि हवाई अड्डा भी इस मास्टर प्लान में शामिल किया जाए। सूत्रों के अनुसार सड़क एवं परिवहन, रेल, नागर विमानन मंत्रालय मिलकर इस मेगा योजना पर विस्तार से चर्चा करने के बाद इसके मसौदे को तैयार कर रहे हैं।
मसौदे में भविष्य की रणनीति
केंद्रीय सड़क परिहवन मंत्रालय के सूत्रों की माने तो इस इस योजना को अंतिम रूप देने के लिए तैयार किये जा रहे मसौदे में ‘नेशनल ट्रांसपोर्ट मास्टर प्लान’ यानि एनटीएमपी भी शामिल है, जिसके तहत देश में ट्रांसपोर्ट से जुड़ी आधारभूत संरचना के सतत् विकास के लिए एक रणनीतिक रूपरेखा और निवेश की योजना बनाई जा रही है। मसौदे के अनुसार यह योजना भविष्य में सामने आ सकने वाली परिवहन संबंधी मांगों का भी अनुमान लगाएगी। वहीं यह अनुमानित इंफ्रास्ट्रक्चर और सर्विस संबंधी जरूरतों का भी आकलन किया जा रहा है। सूत्रों के अनुसार इस मुहिम में परिवहन रणनीति और निवेश की योजनाएं तैयार होंगी, ताकि परिवहन से जुड़ी मांगें पूरी की जा सकें और परिवहन की रणनीति को अमल में लाने के उपायों को आगे बढ़या जा सके।
सागरमाला कार्यक्रम की भूमिका
केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी और रेल मंत्री सुरेश प्रभु इस योजना को अमल में लाने की दिशा में कई रणनीतियों पर काम कर रहे हैं। जहाजरानी मंत्रालय का सागरमाला कार्यक्रम देश में बंदरगाहों के विकास पर केंद्रित किया जा रहा है और सागरमाला की योजना के तहत भी ऐसे कई मल्टी-मॉडल हब बनाए जाएंगे। सागरमाला कार्यक्रम के तहत तटीय इलाकों में इकनॉमिक जोन बनाए जाएंगे और अंतिम छोर तक परिवहन नेटवर्क मुहैया कराने की दिशा में सड़क परियोजना में बन रहे एक्सप्रेस-वे इन मल्टी-मॉडल हब्स से जोड़े जाने की योजना है।
12Apr-2017

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