गुरुवार, 12 अप्रैल 2018

राज्यसभा में नये 41 सदस्यों ने ली शपथ

जेटली फिर नियुक्त हुए उच्च सदन के नेता 
हरिभूमि ब्यूरो. नई दिल्ली।  
संसद में विपक्षी दलों के हंगामे के कारण 19वें दिन भी दोनों सदनों की कार्यवाही पटरी पर नहीं आ पायी। जबकि राज्यसभा में नवनिर्वाचित 41 सांसदों को सदन की सदस्यता के लिए शपथ दिलाई गई। लोकसभा में कल भारत बंद के दौरान हिंसा को लेकर गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने हंगामे के बीच ही अपना बयान दिया। लगातार हो रहे हंगामे के कारण मंगलवार को भी दोनों सदनों की कार्यवाही को पूरे दिन के लिए स्थगित कर दिया गया है।
राज्यसभा की कार्यवाही शुरू होने पर सभापति ने हाल ही में हुए द्विवार्षिक चुनावों में नवनिर्वाचित सदस्यों की शपथ की जानकारी दी और 11 राज्यों के नवनिर्वाचित 41 सदस्यों को उच्च सदन की सदस्यता एवं गोपनीयता की शपथ दिलाई गई। सभापति एम वेंकैया नायडू ने जिन नए सदस्यों को शपथ दिलाई है उनमें भाजपा के 23, कांग्रेस के 6, तृणमूल कांग्रेस के चार, जदयू, राजद व तेदेपा के दो-दो, शिवसेना, और राकांपा का एक-एक सदस्य शामिल हैं। उच्च सदन में दोबारा निर्वाचित होकर आए 18 सदस्यों में आठ केंद्रीय मंत्री अरुण जेटली, रविशंकर प्रसाद, जेपी नड्डा, धर्मेन्द्र प्रधान, थांवरचंद गहलौत, प्रकाश जावडेकर, पुरुषोत्तम रुपाला, और मनसुख भाई मावडिया भी शामिल हैं, जबकि अन्य दस सदस्यों में तेदेपा सीएम रमेश, कांग्रेस कांग्रेस के अभिषेक सिंघवी भी शामिल हैं। जबकि नए सदस्यों में भाजपा के अनिल बलूनी, कैलाश सोनी, सरोज पांडेय, अनिल अग्रवाल, विजयपाल तोमर, अशोक वाजपेयी, अनिल कुमार जैन, देवेन्द्र पाल वत्स आदि के अलावा राजद के मनोज झा, जदयू के महेन्द्र प्रसाद और कांग्रेस के अखिल प्रसाद सिंह जैसे सदस्य शामिल हैं। मंगलवार को शपथ लेने वाले सदस्यों में आंध्र प्रदेश के दो, बिहार के छह, छत्तीसगढ, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, कर्नाटक, उत्तराखंड का एक-एक, मध्य प्रदेश के पांच, महाराष्ट्र के छह, उत्तर प्रदेश के आठ, पश्चिम बंगाल के पांच सदस्य शामिल रहे। इनमें से 26 सदस्यों ने हिंदी, चार ने अंग्रेजी, तीने बंगाली, दो ने तेलगू, दो ने मराठी के अलावा एक-एक ने संस्कृत, कन्नड व उद्रू में शपथ ली।
नायडू ने किया स्वागत
सभापति वेंकैया नायडू ने शपथ लेने वाले सदस्यो का सदन में स्वागत किया और कहा कि उच्च सदन में नौ भाषाओं में शपथ ली, जिसमें आठ सदस्यों की मातृभाषा है। इससे देश की भाषाई और सांस्कृतिक विविधता का पता चलता है। उन्होंने सदन में दोबारा चुनकर आए सदस्यों को अपने पुराने अनुभव को नए सदस्यों से साझा करने की उम्मीद की और उम्मीद जताई कि सदस्य विभिन्न विषयों पर होने वाली चर्चाओं में सार्थक रूप से हिस्सा लेंगे और संसदीय लोकतंत्र को मजबूत करने की दिशा में सदन की गरिमा को भी बढाएंगे।
जेटली फिर उच्च सदन के नेता नियुक्त
सभापति एम वेंकैया नायडू ने मंगलवार सदन की कार्यवाही शुरू होने पर जानकारी दी कि संसदीय कार्यमंत्री अनंत कुमार ने उन्हें दो अप्रैल को लिखित सूचना दी, कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अरुण जेटली को नेता सदन नियुक्त किया है। उन्होंने कहा कि जेटली का उच्च सदन का कार्यकाल कल समाप्त हो गया था और इस कार्यकाल में भी वह नेता सदन की जिम्मेदारी संभाल रहे थे। उन्हें इस कार्यकाल में भी नेता सदन बनाया गया है। जेटली उत्तर प्रदेश से उच्च सदन में चुनकर आये हैं। हालाकि जेटली उस समय सदन में मौजूद नहीं थे।
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हंगामें के कारण संसद में नहीं हुआ कामकाज                               
राज्यसभा में मंगलवार को 41 नवनिर्वाचित सदस्यों को शपथ दिलाये जाने के बाद विपक्षी सदस्यों के विभिन्न मुद्दों पर हंगामे के चलते सदन की कार्यवाही दिन भर के लिए स्थगित कर दी गयी। उच्च सदन में कावेरी प्रबंधन बोर्ड के गठन, आन्ध्र प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा देने, तथा दलितों के मुद्दे पर विपक्षी सदस्यों ने भारी हंगामा किया जिससे सभापति को जरूरी दस्तावेज पटल पर रखवाये बिना ही कार्यवाही दिन भर के लिए स्थगित करनी पड़ी। नायडू ने इसके बाद जैसे ही विधायी दस्तावेज पटल पर रखवाने की कोशिश की अन्नाद्रमुक, द्रमुक, तृणमूल कांग्रेस, कांग्रेस और तेलुगु देशम पार्टी के सदस्य तेजी से आसन की ओर आए और हंगामा शरू कर दिया, जिसके कारण सदन की कार्यवाही को पूरे दिन के लिए स्थगित करना पडा। इसी प्रकार हंगामे लोकसभा में भी इन्हीं मुद‍्दों को लेकर सदन की कार्यवाही दो मिनट के भीतर ही पहले दोपहर 12 बजे तक और उसके बाद पूरे दिन के लिए स्थगित कर दी गई। इसी हंगामे के बीच एससी/एसटी एक्ट मुद्दे पर भारत बंद को लेकर गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने अपना बयान दिया। हंगामे के लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने सदन की कार्यवाही को बुधवार 11 बजे तक स्थगित कर दिया।
04Apr-2018

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