रविवार, 4 अगस्त 2019

राग दरबार: कबीर संदेश पर सरकार


कल करे सो आज कर
मोदी-2 सरकार के पहले ही संसद सत्र में जिस तेज गति से कामकाज को अंजाम दिया जा रहा है, उसे लेकर भले ही विपक्षी दल असहज नजर आ रहा हो, लेकिन सरकार के काम को लेकर देश में जा रहे सकारात्मक संदेश में संत कबीर का दोहा ‘कल करे सो आज कर, आज करे सो अब और पल में प्रलय होएगी, बहूरी करेगो कब’चरितार्थ होता नजर आ रहा है। खासकर राज्यसभा में आने के बाद अटकते रहे महत्वपूर्ण विधेयकों को आपत्तियों और भारी विरोध के बावजूद भी बहुमत वाला विपक्ष इतना बेबस नजर आ रहा है कि इस सत्र में अभी तक एक भी विधेयक को मत विभाजन में भी पारित होने से नहीं रोक पाने में विफल है। खासकर तीन तलाक बिल पर एक विपक्षी सांसद का कहना है कि कांग्रेस नेतृत्वहीन होने के साथ कंफ्यूज भी है, जो विपक्ष की एकजुटता बनाने में पूरी तरह से विफल रही और सरकार इसका फायदा उठाते हुए तमाम बिलों को अंजाम तक पहुंचाने में जुटी है। उधर सियासी गलियारों में संसद के मौजूदा सत्र में सरकार के कामकाज को लेकर हो रही चर्चा में विपक्ष की एकजुटता की कमजोरी ही सरकार की ताकत बनकर उभर रही है और दोनों सदनों में विपक्ष के कंफ्यूजन और बिखराव को देखते हुए ही शायद सरकार ने संसद सत्र का विस्तार किया, ताकि आने वाले कल के कामों को संत कबीर के संदेश के आधार पर इसी सत्र में निपटा लिया जाए!
मिश्रा जी का कालेज
संसद सत्र में कामकाज को तरजीह दे रही सरकार की नीति से विपक्ष नाराज चल रहा है, लेकिन दोनों सदनों में दनादन पास होते बिलों पर अभिव्यक्ति की स्वतंत्रा तो कायम है लेकिन ऐसा लगता है कि सरकार के सामने विपक्ष नतमस्तक हो चुका है। राज्यसभा में तो सरकार दलगत समीकरण में अल्पमत में है, लेकिन जैसे सरकार चाह रही है वैसे ही मजबूत विपक्ष के सामने करती नजर आ रही है। सदन में तो जब नेशनल मेडिकल आयोग विधेयक पर चर्चा चल रही थी तो सपा सांसद रामगोपाल यादव ने तो अपरोक्ष रूप से बिल का समर्थन करते हुए मजाकिया लहजे में एक बसपा के एक सदस्य का नाम लेते हुए यहां तक कह दिया कि ऐसे संशोधनों के लागू होने पर निजी मेडिकल कालेजों पर क्या असर होगा और हमारे मिश्रा जी के कालेज का क्या होगा? जिन्होंने लोन लेकर बड़ी बिल्डिंग खड़ी की है, इस पर उनसे पिछली सीट पर बैठे बसपा सदस्य सहमते नजर आए। इस दौरान सपा के माननीय सदस्य शायद सरकार का लोहा मान चुके हैं जो अपनी वाणी से इस दौरान सरकार की ओर इशारा करके यहां तक कह चुके हैं कि अगर आप हमारे यानि विपक्ष के एकाध सुझाव को मान लें तो ठीक है, वरना आजकल आप जैसा चाहें, वैसा कर ही रहे हैं।
04Aug-2019

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